श्रुति मंडल द्वारा माला माथुर स्मृति दिवस का हुआ आयोजन

जयपुर। माला माथुर स्मृति दिवस समारोह में जयपुर-अतरौली घराने की प्रखर गायिका श्रुति साडोलिकर की प्रस्तुति से दर्शकों को मंत्रमुग्ध किया । महाराणा प्रताप ऑडिटोरियम में आयोजित कार्यक्रम में विभिन्न रागों की प्रस्तुति हुई । श्रीमती प्रकाश सुराणा , चंद्रा सुराणा, प्राचीर सुराणा व सुधीर माथुर ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम की विधिवत शुरुआत की | गायिका श्रुति साडोलिकर ने प्रारम्भिक शिक्षा अपने पिता एवं गुरु स्व. पं. वामनराव साडोलिकर (जयपुर घराने के प्रणेता स्व. उ. अल्लादिया खाँ के शिष्य) से प्राप्त की। आपको उ. अल्लादिया खाँ के शिष्य उ.गुल्लूभाई जसदनवाला द्वारा वर्षों से संजो कर रखी गई प्राचीन एवं दुर्लभ बंदिशें सीखने का अवसर मिला है। स्वरों की शुद्धता, व्यवस्थित तानें, दमदार आवाज के साथ माधुर्यपूर्ण रागदारी आपके गायन की प्रमुख विशेषता है।

श्रुति जी ने देश-विदेश के अनेक विश्वविद्यालयों में भारतीय शास्त्रीय संगीत पर व्याख्यान दिये हैं। केसरबाई केरकर स्कॉलरशिप, होमी भाभा फैलोशिप तथा आइ ऑफ महाराष्ट्र सम्मान जैसे अनेक पुरस्कारों से विभूषित श्रुतिजी के अनेक एलबम उपलब्ध हैं। उन्होंने कहा कि श्रुति मंडल के कार्यक्रम में आना घर आने का अहसास है और यह अहसास उनको आनंदित करता है।